31-01-14
प्रातः मुरली ओम्
शान्ति “बापदादा” मधुबन
मीठे
बच्चे
–
सदा याद रखो कि हम ब्राह्मण चोटी हैं, पुरुषोत्तम बन रहे हैं
तो हर्षित रहेंगे, अपने आप से बातें करना सीखो तो अपार ख़ुशी
रहेगी | 
प्रश्न:-
बाप की शरण में कौन आ सकते हैं? बाप शरण किसको देते हैं?
उत्तर:-
बाप
की शरण में वही आ सकते हैं जो पूरा-पूरा नष्टोमोहा हो | जिनका
बुद्धियोग सब तरफ़ से टूटा हुआ हो | मित्र सम्बन्धियों आदि में
बुद्धि की लागत न हो | बुद्धि में रहे मेरा तो एक बाबा दूसरा न
कोई | ऐसे बच्चे ही सर्विस कर सकते हैं | बाप भी ऐसे बच्चों को
ही शरण देते हैं |
ओम्
शान्ति
|
यह
है रूहानी बाप, टीचर, गुरु | यह तो बच्चे अच्छी रीति समझ गये
हैं दुनिया इन बातों को नहीं जानती | भल सन्यासी कहते हैं
शिवोहम् | तो भी ऐसे नहीं कहेंगे कि हम बाप टीचर गुरु हैं | वह
सिर्फ़ कहते हैं शिवोहम् तत् त्वम् | परमात्मा सर्वव्यापी है तो
हरेक बाप टीचर गुरु हो जायें | ऐसे तो कोई समझते भी नहीं |
मनुष्य अपने को भगवान, परमात्मा कहलायें यह तो बिल्कुल ही रांग
है | बच्चों को जो बाप समझाते हैं वह तो बुद्धि में धारण होता
है ना | उस पढ़ाई में कितनी सब्जेक्ट होती हैं, ऐसे नहीं सब
सब्जेक्ट स्टूडेन्ट की बुद्धि में रहती हैं | यहाँ जो बाप
पढ़ाते हैं वह एक सेकेण्ड में बच्चों की बुद्धि में आ जाता है |
तुम रचयिता और रचना के आदि मध्य अन्त का ज्ञान सुनाते हो | तुम
ही त्रिकालदर्शी वा स्वदर्शन चक्रधारी बनते हो | उस जिस्मानी
पढ़ाई में सब्जेक्ट बिल्कुल अलग हैं | तुम सिद्ध कर समझाते हो,
सर्व का सद्गति दाता वह एक ही बाप है | सभी आत्मायें परमात्मा
को याद करती हैं | कहती हैं ओ गॉड फादर | तो ज़रूर बाप से वर्सा
मिलता होगा | वह वर्सा खोने में दुःख में आ जाते हैं | यह सुख
दुःख का खेल है | इस समय सभी पतित दुःखी हैं | पवित्र बनने से
सुख ज़रूर मिलता है | सुख की दुनिया बाप स्थापन करते हैं |
बच्चों को बुद्धि में यह रखना है कि हमको बाप समझाते हैं,
नॉलेजफुल एक बाप ही है | सृष्टि के अदि मध्य अन्त का ज्ञान बाप
ही देते हैं | और सभी धर्म जो स्थापन हुए हैं वह अपने समय पर
आयेंगे | यह बातें और कोई की बुद्धि में नहीं हैं | तुम बच्चों
के लिए बाप ने यह पढ़ाई बिल्कुल सहज रखी है | सिर्फ़ थोड़ा
विस्तार से समझाते हैं | मुझ बाप को याद करो तो तुम तमोप्रधान
से सतोप्रधान बन जायेंगे | योग की महिमा बहुत है | प्राचीन योग
भारत का गाया हुआ है | परन्तु योग से फ़ायदा क्या हुआ था, यह
किसको प