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❍ 20 / 02 / 16 की मुरली से चार्ट ❍
⇛ TOTAL MARKS:- 100 ⇚
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✺ शिवभगवानुवाच :-
➳ _ ➳ रोज रात को सोने से पहले बापदादा को पोतामेल सच्ची दिल का दे दिया तो धरमराजपुरी में जाने की आवश्यकता नहीं पड़ेगी।
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∫∫ 1 ∫∫ होमवर्क (Marks:- 6*5=30)
‖✓‖ चाहे कितने भी सितम सहन करने पड़ें, बाप ने जो °पवित्र° बनने की श्रीमत दी है, उस पर निरंतर चलते रहे ?
‖✓‖ बाप पर °पूरा वारी° जाने का पुरुषार्थ किया ?
‖✓‖ °बाप समान° बनने की हिम्मत रखी ?
‖✓‖ °महावीर° बन माया के तूफानों से डरे तो नहीं ?
‖✓‖ "°नथिंग न्यू°" की स्मृति रही ?
‖✓‖ "विशेषताएं व गुण °दाता की देन° है" - यह स्मृति में रख व्यक्ति को न देख दाता को देखा ?
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∫∫ 2 ∫∫ विशेष पुरुषार्थ (Marks:-10)
‖✓‖ अपने °परिवर्तन° द्वारा निरंतर विजय की अनुभूति की ?
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∫∫ 3 ∫∫ विशेष अभ्यास (Marks:-10)
( इस रविवार की अव्यक्त मुरली से... )
‖✓‖ महान दाता बन °समय और संकल्पों का खजाना° औरों के प्रति लगाया ?
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∫∫ 6 ∫∫ मुख्य धारणा-ज्ञान मंथन(Marks-15)
➢➢ किसी भी बात में डरना नहीं है । पवित्र जरुर बनना है ।
❉ इस समय घोर कलयुग में पांचो तत्व भी तमोप्रधान है व दुःख ही दुःख है । स्वयं भगवान ने हमें अपना बनाया है व हमेशा हमारे साथ है । इसलिए किसी भी बात में डरना नही है । निश्चय बुद्धि बन हर कार्य करना है । क्योंकि जहां संशय होता है वहीं डर होता है ।
❉ बाप सर्वशक्तिमान है व हमउसके बच्चे मास्टर सर्वशक्तिमान है । लौकिक में भी जब छोटा बच्चा अपने पिता के साथ होता है तो दूसरों को हप हप करके डराता है फिर हमें तो बेहद का बाप मिला है व अपने बच्चों के साथ है तो फिर क्यूं किसी बात से डरना ।
❉ देहभान में रहने के कारण पतित होते गए । अब स्वयं बाप आए हैं व हमें पतित से पावन बनाने के लिए । पावन बने बगैर तो घर वापिस नही जा सकते इसलिए पवित्र जरुर बनना है ।
❉ याद की यात्रा में रहने से पुराने स्वभाव संस्कारों को स्वाहा करना है पुरानी दुनिया को छोड़ेंगे तभी तो नयी सतोप्रधान दुनिया में जायेंगे ।
❉ बाप कहते ह़ै गृहस्थ परिवार में रहते कमल पुष्प समान पवित्र रहना है इसमें डरने की कोई बात नही है । मनसा वाचा कर्मणा पवित्र रहना है ।
❉ बाप कहते हैं कि अ़तिम जन्म पवित्र जरुर बनना है ।एक जन्म पवित्र रहने से प्राप्ति इतनी जबरदस्त है तो हिम्मत रखनी है व बाप की श्रीमत पर चलते हुए पवित्र जरुर बनना है ।
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∫∫ 7 ∫∫ वरदान - ज्ञान मंथन (Marks:-20)
➢➢ अपने परिवर्तन द्वारा निरंतर विजय की अनुभूति करने वाले सच्चे सेवाधारी होते हैं...क्यों और कैसे ?
❉ विजयी आत्मा अपने हर संकल्प हर कदम पर विजय का अनुभव करती है तो उनका परिवर्तन देखकर अनेक आत्माओं की सेवा स्वयं हो जाती है ।
❉ विजयी आत्मा की मस्तक से मस्तकमणि की लाइट चमकती है । चेहरे पर पवित्रता का तेज होता है व चलन से बाप का चरित्र साफ झलकता है । ऐसी अव्यक्त सूरत से सेवा करने वाली विशेष आत्मा को ही सच्चा सेवाधारी कहते हैं ।
❉ अपने को नाम मान शान से परे रख अपने में परिवर्तन कर निरंतर बाप की याद में रहते अपने को ट्रस्टी समझ हर कर्म करते सफलता प्रापत करने वाले सच्चे सेवाधारी होते हैं ।
❉ सबके प्रति दया, क्षमाभाव, निस्वार्थ स्नेह, शुभ भावना रखते अपने में परिवर्तन लाने वाले विजय की अनुभूति करने वाले सेवाधारी होते हैं ।
❉ मैं सर्वोच्च रचनाकार की रचना हूं सदा यही सोचते अपने में परिवर्तन लाकर दिव्य गुणों को भरते हैं ऐसी आत्मायें निरंतर सफलता प्राप्त कर सच्चे सेवाधारी होते हैं ।
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∫∫ 8 ∫∫ स्लोगन - ज्ञान मंथन (Marks:-15)
➢➢ विशेषतायें वा गुण दाता की देन हैं, दाता को देखो व्यक्ति को नही... क्यों ?
❉ किसी के गुण वा विशेषता को दाता की देन समझ दाता को ना देखने की बजाए उस व्यक्ति को देखेंगे तो देह भान में फंस जायेंगे और देह भान में आ कर अनेक विकर्मो में प्रवृत होते जायेंगे ।
❉ किसी की गुण वा विशेषता को जब दाता की देन समझने की बजाए उस व्यक्ति को देखेंगे तो उस व्यक्ति के प्रति उत्तपन्न होने वाली आसक्ति मन बुद्धि को विचलित कर देगी और दाता अर्थात बाप से बुद्धि योग लगने नही देगी ।
❉ व्यक्ति में जो भी गुण वा विशेषता है वह दाता की देन है उस व्यक्ति की नही यह विस्मृति कर्मेन्द्रियजीत बनने नही देगी और कर्मेन्द्रियों की चंचलता विकर्मो के बोझ को कम करने की बजाए उसमे और वृद्धि कर देगी ।
❉ ईश्वरीय नियमो और मर्यादाओं का पालन आत्मा को चढ़ती कला का अनुभवी बनाता है । किन्तु जब किसी की विशेषता वा गुण को देख उसकी तरफ आकर्षित होते हैं और दाता को भूल जाते हैं तो नियम और मर्यादायों का उल्लंघन होने लगता है जो आत्मा को गिरती कला में ले आता है ।
❉ किसी भी व्यक्ति के गुण वा विशेषता को देख व्यक्ति के प्रति आकर्षण आत्मा को प्रकृति जीत बनने नही देगा और उसे प्रकृति का दास बना देगा और प्रकृति का दास बनने वाले सदा माया से हार खाते रहते हैं और विघ्नों में फंस, सदा दुखी होते रहते हैं ।
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⊙_⊙ आप सभी बाबा के प्यारे प्यारे बच्चों से अनुरोध है की रात्रि में सोने से पहले बाबा को आज की मुरली से मिले चार्ट के हर पॉइंट के मार्क्स ज़रूर दें ।
♔ ॐ शांति ♔
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