21-12-15 मुरली कविता
बाप को याद करो तो दुःख हो दूर
पढ़ाई पढ़नी और पढ़ानी,इसमें नही मिलती आशीर्वाद
तुम्हे सतगुरु बाप मिला तो कोई नही फ़िकरात
यह है डर्टी दुनिया इसमें सबको है फ़िकरात ही फ़िकरात
आपस में क्षीण-खण्ड हो कर रहना
लून-पानी नही होना,खुद को सुधारना
मास्टर प्यार का सागर बनना
दैवी कैरक्टर करने धारण
बाप की स्मृति से सदा एक-रस स्थिति बनानी
और कुछ भी हो जाये ..नथिंग न्यू को रखना याद
दैवी स्वरुप सदा स्मृति में हो तो कोई भी व्यर्थ पर नज़र नही जा
सकती
ॐ शांति!!!
मेरे बाबा!!!